रजनीकांत को दादा साहेब फाल्के पुरस्कार से सम्मानित किया गया।अपने प्रशंसकों द्वारा ‘थलाइवा’ (तमिल में नेता) के नाम से पुकारे जाने वाले रजनीकांत को 2019 के लिए भारतीय सिनेमा के सर्वोच्च सम्मान दादासाहेब फाल्के पुरस्कार प्रदान किया गया।
नयी दिल्ली। सुपरस्टार रजनीकांत को यहां राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार समारोह में प्रतिष्ठित दादासाहेब फाल्के पुरस्कार से सम्मानित किया गया और उन्होंने यह पुरस्कार अपने गुरू और फिल्म निर्देशक दिवंगत के. बालचंदर को समर्पित किया। अपने प्रशंसकों द्वारा ‘थलाइवा’ (तमिल में नेता) के नाम से पुकारे जाने वाले रजनीकांत को 2019 के लिए भारतीय सिनेमा के सर्वोच्च सम्मान दादासाहेब फाल्के पुरस्कार प्रदान किया गया। पुरस्कार ग्रहण करते हुए रजनीकांत ने पांच दशकों तक समर्थन करने को लेकर अपने बड़े भाई सत्यनारायण राव, परिवहन विभाग में अपने सहकर्मी और मित्र राज बहादुर, अपने प्रशंसकों, फिल्म निर्माताओं, सहकर्मियों और तमिल लोगों का शुक्रिया अदा किया।
रजनीकांत (70) ने यहां विज्ञान भवन में राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार समारोह में कहा, ‘‘मुझे यह पुरस्कार ग्रहण करते हुए बहुत खुशी हो रही है और प्रतिष्ठित दादासाहेब फाल्के पुरस्कार के लिए मैं सरकार को धन्यवाद देता हूं। मैं अपना यह पुरस्कार अपने गुरू, अपने मार्गदर्शक के. बालचंदर सर को समर्पित करता हूं, मैं अपने भाई सत्यनारायण राव का शुक्रिया करता हूं कि उन्होंने मुझे इतने अच्छे संस्कार दिए। वह मेरे जीवन में मेरे लिए पिता तुल्य हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘मेरे दोस्त, वाहन चालक और परिवहन विभाग के सहकर्मी राज बहादुर का आभार जताता हूं। उन्होंने मुझमें अभिनय की प्रतिभा देखी और मुझे प्रेरित किया। मेरी फिल्मों का निर्माण करने वाले मेरे सभीनिर्माताओं और निर्देशकों, तकनीकी सहायकों, कलाकारों, वितरकों, मीडिया, प्रेस और मेरे सभी प्रशंसकों और तमिल लोगों का शुक्रिया।’’ उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने रजनीकांत को ‘‘इस महान देश के महान सपूतों में से एक’’ बताया।
उपराष्ट्रपति ने रजनीकांत को ‘‘दक्षिण भारत से, न कि दक्षिण भारत का महान अभिनेता’’ बताते हुए कहा कि अनुभवी अभिनेता ने ‘‘भैरवी’’ और ‘‘शिवाजी’’ समेत कई फिल्मों में यादगार भूमिकाएं निभायी। नायडू ने कहा, ‘‘प्रतिष्ठित अभिनेता के अतुलनीय अभिनय कौशल ने भारतीय फिल्म उद्योग को नयी ऊंचाई दी…उन्होंने यह प्रदर्शित किया कि कलात्मक अभिव्यक्ति और जनता के अनुरोध के बीच सही संतुलन कैसे बनाया रखा जाए।’’ रजनीकांत ने बालचंदर के साथ 1975 में ‘‘अपूर्व रागंगल’’ से फिल्मी सफर शुरू किया था और अपने करियर में कई हिट फिल्में दी। पिछले साल दिसंबर में उन्होंने चुनावी राजनीति में उतरने की घोषणा की। हालांकि बाद में उन्होंने एलान किया कि वह अपनी खराब सेहत के कारण राजनीति में नहीं आएंगे।