पोषण पखवाड़ा के तहत गोष्ठी का आयोजन कर महिलाओं को किया गया जागरुक

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(धर्मेन्द्र सिंह) हरदोई। जनपद में पोषण के प्रति जन जागरूकता लाने के लिए पूरे प्रदेश में चार अप्रैल तक पोषण पखवाड़ा मनाया जा रहा है। पोषण पखवाड़ा के अंतर्गत शून्य से छह वर्ष तक के सभी बच्चों के वजन एवं ऊँचाई की माप आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों द्वारा की जाएगी। एवं पोषण से संबंधित विभिन्न जागरूकता कार्यक्रमों का आयोजन आंगनबाड़ी केंद्रों पर किया जाना है। इसी क्रम में आज पोषण गोष्ठी का आयोजन गांधी भवन में किया गया। गोष्ठी का विषय “पोषण में महिलाओं की भूमिका “थी। कार्यक्रम की मुख्य अतिथि अपर जिलाधिकारी वन्दना त्रिवेदी ने अपने संबोधन में कार्यकर्ताओं को कुपोषण के क्षेत्र में और बढ़ चढ़कर कार्य करने के लिए प्रेरित किया। तथा प्रत्येक आंगनवाड़ी कार्यकत्री से कहा कि वह यह संकल्प लें कि वह अपने गाँव को कुपोषण से मुक्त बनाएँगी। मुख्य अतिथि ने कार्यकर्ताओं द्वारा बनाए गए पोषण स्टाल एवं पोषण रंगोली की प्रशंसा की। कार्यक्रम के प्रारंभ में प्रस्तुतिकरण के माध्यम से कुपोषण के कारण प्रकार और कुपोषण से बचाव के संबंध में जानकारी दी गई। कुपोषण के क्षेत्र में कार्य कर रही संस्था भ्ब्स् फाउंडेशन और वर्ल्ड विजन इंडिया के प्रतिनिधियों ने अपनी संस्था द्वारा कुपोषण के क्षेत्र में जनपद में किए जा रहे उल्लेखनीय कार्यों की जानकारी दी। डा. दीपा ने जानकारी दी कि भ्ब्स् फाउंडेशन द्वारा जनपद के 180 आंगनबाड़ी केन्द्रों का सौंदर्यीकरण किया गया है। एवं द्वितीय चरण में 80 आंगनवाड़ी केंद्रों के सौंदर्यीकरण का कार्य करवाया जा रहा है। आंगनवाड़ी केंद्र के सुंदर और सुसज्जित होने से बच्चों का आकर्षण बढ़ेगा। और अधिक संख्या में बच्चे और महिलाएँ केंद्र की सेवाओं की ओर आकर्षित होंगे। वर्ल्ड विजन इंडिया के प्रतिनिधि निक्सन ने अपनी संस्था द्वारा समुदाय में कुपोषण और महिलाओं की आर्थिक स्थिति उन्नत करने के लिए किए जा रहे कार्यक्रम के विषय में जानकारी दी। जिला कार्यक्रम अधिकारी बुद्धि मिश्रा ने अपने संबोधन में कहा कि पोषण का सीधा संबंध खानपान से हैं और खानपान की जिम्मेदारी घर की महिलाओं पर होती है। इसलिए पोषण में सर्वाधिक महत्वपूर्ण भूमिका महिलाओं की ही है। और महिलाओं को पोषण के प्रति जागरूक करने में आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों की भूमिका सर्वाधिक महत्वपूर्ण है। इसलिए उन्होंने आंगन बाड़ी कार्यकत्रियों को गृह भ्रमण और समुदाय आधारित गतिविधियों के माध्यम से कुपोषण के बारे में महिलाओं, बच्चों के साथ-साथ पुरुषों को भी जागरूक करने पर जोर दिया। कार्यक्रम में एक गर्भवती महिला तथा छह माह के बच्चे का अन्नप्राशन अतिथियों द्वारा संयुक्त रूप से किया गया। पोषण के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाली पाँच आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं को सम्मानित भी किया गया। गोष्ठी में डा. सुशील कुमार, अपर मुख्य चिकित्साधिकारी, डा. विपिन चैधरी, उपायुक्त स्वतः रोजगार प्रियंका पांडे, बाल कल्याण अधिकारी एवं आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं ने भी अपने विचार रखे। कार्यक्रम का संचालन एवं धन्यवाद ज्ञापन बाल विकास परियोजना अधिकारी बिलग्राम रजनीश कुमार के द्वारा किया गया।
कार्यक्रम में विकास खंड अहिरोरी, हरियाव, सुरसा, बावन और शहर परियोजना की 300 से अधिक कार्य कत्रियों एवं लाभार्थियों ने प्रतिभाग किया। 10 लाभार्थियों को पोषण एवं स्वच्छता किट का वितरण भी किया गया। कार्यक्रम में आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों छाया देवी, अनुपमा गुप्ता, गजाला कुलशुम, कमला देवी और रितेश कुमारी को सम्मानित किया गया।

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