स्कूल प्रबंधन को 15 से 17 साल के बच्चों की लिस्ट और वैक्सीनेशन सर्टीफिकेट अपडेट रखने को कहा गया है, निरीक्षण के दौरान टीम से समक्ष सारा रिकॉर्ड दिखाना होगा। जिले से सभी सरकारी और निजी स्कूलों के प्रिंसिपल के पास जानकारी होनी चाहिए कि बच्चों के पहली और दूसरी डोज कब लगनी है।
भोपाल। मध्य प्रदेश में 15 से 17 साल के बच्चों का वैक्सीनेशन जारी है। छात्रों का टीकाकरण अनिवार्य करने के बाद भी स्कूलों में लापरवाही बरतने की शिकायतें मिली हैं। मंगलवार को इंदौर के 5 स्कूलों समेत दो दिन में कुल 9 स्कूलों को सील करने की कार्रवाही की जा चुकी है। छात्रों के टीकाकरण के मद्देनजर जिले में धारा 144 लगा दी गई है।
वही प्रिंसिपल और संचालकों पर भी एक्शन लेने की बात कही गई है। बच्चों के वैक्सीनेशन की जांच के दौरान इंदौर के आगरा गांव स्थित सरकारी हायर सेकंडरी स्कूल में 100 प्रतिशत बच्चों के टीकाकरण का लक्ष्य हासिल कर लिया है। कलेक्टर ने इस स्कूल के छात्रों और प्रबंधन की तारीफ की है।
स्कूल प्रबंधन को 15 से 17 साल के बच्चों की लिस्ट और वैक्सीनेशन सर्टीफिकेट अपडेट रखने को कहा गया है, निरीक्षण के दौरान टीम से समक्ष सारा रिकॉर्ड दिखाना होगा। जिले से सभी सरकारी और निजी स्कूलों के प्रिंसिपल के पास जानकारी होनी चाहिए कि बच्चों के पहली और दूसरी डोज कब लगनी है। बच्चों द्वारा वैक्सीन नहीं लगवाने की जानकारी भी प्राचार्य के पास होनी चाहिए।
इंदौर कलेक्टर मनीष सिंह ने स्कूल प्रबंधन को सख्त चेतावनी जारी दी है कि योग्य छात्रों का टीकाकरण सुनिश्चित करना स्कूलों, शिक्षा अधिकारियों और प्राचार्यो की जिम्मेदारी है। ऐसा नहीं करने वालों पर महामारी रोग अधिनियम 1897 के तहत सख्त कार्रवाही होगी।
आपको बता दें कि बीते 24 घंटों में 15 से 17 साल के केवल 5095 बच्चों को सेकंड डोज लगाई गई। प्रदेश के कई जिलों में अब भी कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं, इंदौर में बीते 24 घंटों में 1438 नए मरीज मिले हैं। जिले में कोरोना संक्रमितों का आंकड़ा 2.01 लाख से ज्यादा हो गया है।