जनपद में शुरू हुआ नाईट ब्लड सर्वे, पहले दिन रक्त के लिए गए 793 नमूने

RAJNITIK BULLET
0 0
Read Time4 Minute, 2 Second

(राममिलन शर्मा)
रायबरेली। राष्ट्रीय फाइले रिया उन्मूलन कार्यक्रम के तहत जनपद के 15 ब्लाक में दो से सात जून तक नाईट ब्लड सर्वे (एन.बी.एस) चल रहा है जिसके तहत माईक्रो फाइलेरिया की दर जानने के लिए लोगों के रक्त के नमूने लिए जा रहे हैं। इस क्रम में राही ब्लाक के आयुष्मान आरो ग्य मंदिर राही पर मंगलवार की रात 10 बजे नाइट ब्लड सर्वे शिविर आयो जित हुआ।
पेशेंट स्टेकहोल्डर प्लेट फार्म (पीएसपी) के सदस्यों सामुदायिक स्वास्थ्य अधि कारी (सीएचओ), कोटेदार, आशा, आंगनबाड़ी, फाइलेरि या मरीजों के सहयोग से जाग रूक कर शिविर में जांच के लिए लोगों को एकत्र किया गया। शिविर में 75 लोगों के रक्त के नमूने लिए गए।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. नवीन चंद्रा ने बताया कि राही ब्लाक सहित जनपद के 15 ब्लाक में एन.बी.एस शुरू हुआ है। प्रत्येक ब्लाक और अर्बन आरआई यूनिट में दो स्थल चुने गए हैंकृ एक रैंडम आधार पर और दूसरा ऐसा क्षेत्र जहाँ पहले फाइलेरिया के सर्वाधिक मामले सामने आए हों या फिर संक्रमण के लिए अनुकूल पर्यावरण वाले गाँव या मोहल्ले को प्राथ मिकता दी गई है।
राही आयुष्मान आरोग्य मंदिर में लगे शिविर में पी एसपी सदस्यों के सहयोग से प्रचार-प्रसार कराया गया है। अन्य जगहों पर भी पीएसपी के सदस्यों का सहयोग लिया जा रहा है। पीएसपी के सहयोग से कई लोगों ने एन.बी.एस.में अपनी जांच कराई है। एन.बी.एस. का मुख्य उद्देश्य फाइलेरिया के संक्रमण एवं माइक्रो फाइलेरिया की दर को जानना है। इससे यह पता चलेगा कि अमुक क्षेत्र में कितने लोगों में फाइलेरिया के परजीवी हैं। उन्होंने लोगों को बताया कि फाइलेरिया का परजीवी रात में ही सक्रिय रहता है इसीलिए इसका पता लगाने के लिए एन.बी.एस. कराया जाता है।
एन.बी.एस. के परिणाम आने के बाद जहां पर फाइ लेरिया के केस निकलेंगे वहां पर सर्वजन दवा सेवन (आई डीए) अभियान चलेगा।
जिला स्वास्थ्य शिक्षा एवं सूचना अधिकारी डी.एस.अस्थाना ने बताया कि जनपद के पहले दिन ब्लड की कुल 793 स्लाइड बनी हैं।
उन्होंने बताया कि फाइले रिया का कोई इलाज नहीं है लेकिन इसकी शुरुआत में ही पहचान होने के कारण उचित देखभाल करके इसका प्रबन्धन किया जा सकता है। इससे बचने का उपाय है आईडीए के तहत फाइलेरिया रोधी दवा का सेवन और मच्छर के काटने से बचना।
राही के कोटेदार एवं पी एस पी के सदस्य हरिश्चंद्र, मालती और मोहन देई ने बड़ी सक्रियता के साथ लोगों को जांच कराने के लिए प्रेरित किया। शिविर में एलटी जंग बहादुर गौतम और अर्पित सिंह पटेल, एसएलए जितेंद्र, बीसीपीएम अरुण वर्मा, सेंटर फॉर एडवोकेसी एंड रिसर्च (सीफार) के प्रतिनिधि सहित पीएसपी सदस्य आशा, आंगन बाड़ी, फाइलेरिया मरीज सहित अन्य लोग मौजूद रहे।

Next Post

सीआईए स्टाफ नरवाना की टीम द्वारा नशा तस्करों के खिलाफ लगातार कारवाई

(करन […]
👉