योगी ने ‘मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम’ के तहत सौ आकांक्षात्मक विकासखंडों के शोधार्थियों से बात की

RAJNITIK BULLET
0 0
Read Time6 Minute, 2 Second

Dec 31, 2022
इसके लिए ग्राम पंचायत स्तर पर बैंकों के कैम्प लगवाए जाएं। मुख्यमंत्री ने बृहस्पतिवार शाम अपने सरकारी आवास पर मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम के अन्तर्गत 100 आकांक्षात्मक विकासखंडों में तैनात शोधार्थियों से संवाद कार्यक्रम में अपने विचार व्यक्त किए। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने शोधार्थियों से संवाद किया।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि मात्र आठ माह में 86 विकासखंड राज्य के औसत के बराबर आ गए हैं। मार्च 2022 तक उत्तर प्रदेश के 99 विकासखंड राज्य के औसत से पीछे थे, आज सिर्फ 13 बचे हैं और यह सब ‘मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम’ के शोधार्थियों की कड़ी मेहनत से संभव हो पाया है। उन्होंने कहा कि शोधार्थी गांवों में स्वरोजगार सृजन पर विशेष ध्यान दिया जाए। इसके लिए ग्राम पंचायत स्तर पर बैंकों के कैम्प लगवाए जाएं। मुख्यमंत्री ने बृहस्पतिवार शाम अपने सरकारी आवास पर मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम के अन्तर्गत 100 आकांक्षात्मक विकासखंडों में तैनात शोधार्थियों से संवाद कार्यक्रम में अपने विचार व्यक्त किए। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने शोधार्थियों से संवाद किया।
शोधार्थियों ने अपने-अपने विकासखंडों में किये जा रहे उल्लेखनीय कार्यों से उन्हें अवगत कराया। योगी ने शोधार्थियों से जनपद में व्यापक भ्रमण करने और जन संपर्क बनाने की अपील की। उन्होंने शोधार्थियों से कहा कि वे समन्वय बनाकर योजनाओं पर लोगों का फीडबैक एकत्रित करें। मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘उत्तर प्रदेश में असीम संभावनाएं हैं। शोधार्थी जब क्षेत्र में रहें, तब अधिकारियों और लोगों से बेहतर संवाद बनाकर कार्यक्रम को आगे बढ़ाएं। इससे सार्थक परिणाम सामने आएंगे।’’ मुख्यमंत्री योगी ने शोधार्थियों का उत्साह बढ़ाते हुए कहा, ‘‘तीन से चार वर्ष बाद जब इन आकांक्षात्मक विकासखंडों में तैनात शोधार्थियों के कार्यों का मूल्यांकन किया जाएगा। अच्छा कार्य करने वाले शोधार्थी अगर सरकारी सेवा में आना चाहेंगे, तो उन्हें उम्र में छूट दी जाएगी।’’
उन्होंने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी की मंशा के अनुरूप आकांक्षात्मक जनपदों की तर्ज पर राज्य में आकांक्षात्मक विकासखंडों का चयन किया गया। इन विकासखंडों में एक-एक ‘मुख्यमंत्री फेलो’ की तैनाती की गयी। उनके प्रशिक्षण के बाद 21 अक्टूबर, 2022 को उन सभी फेलो को नियुक्ति पत्र तथा टैबलेट उपलब्ध कराये गये थे। उसके बाद सभी शोधार्थियों ने अपने-अपने तैनाती क्षेत्र में कार्य प्रारम्भ किया।’’ आदित्यनाथ ने कहा, ‘‘डाटा संकलित न कर पाने के कारण शासन को कई बार समस्याओं का सामना करना पड़ता है। ये शोधार्थी प्रतिदिन अपना कार्य करने के बाद डाटा अपलोड कर रहे हैं। इससे डाटा संकलन में सुविधा हो रही है।’’
उन्होंने कहा कि शिक्षा, स्वास्थ्य, कौशल, बुनियादी ढांचा और अन्य व्यवस्थाओं को और बेहतर बनाने के लिये सही डाटा अपलोड करें और विकास खंड की आवश्यकता को ध्यान में रखकर कार्यक्रम चलाएं। उन्होंने कहा कि हमें किसानों की लागत को कम करते हुए उनके उत्पादन को बढ़ाना है। इसके लिए कीटनाशक के छिड़काव को लेकर किसानों को ड्रोन ट्रेनिंग के बारे में जानकारी दी जाए। युवाओं को रोजगार मिले और हर विकासखंड में कौशल विकास के कैम्प लगवाए जाएं। एक सरकारी बयान के अनुसार मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार की कुछ योजनाओं में इन शोधार्थियों के माध्यम से अप्रैल से लेकर नवंबर तक बहुत अच्छा कार्य हुआ है।
आयुष्मान भारत कार्ड, स्कूलों में शौचालय और पेयजल, गोआश्रय स्थल, मिशन इंद्रधनुष जैसी कई अन्य कार्यक्रम आकांक्षात्मक विकासखंडों में अब और तेजी के साथ आगे बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘ग्राम सचिवालय, ग्राम पंचायत के स्वावलम्बन का आधार बन सकता है। उत्तर प्रदेश के ज्यादातर ग्राम पंचायतों में ग्राम सचिवालय बनकर तैयार हैं। इनमें बैंकिंग सखी, रोजगार सेवक और कम्प्यूटर ऑपरेटर के बैठने की व्यवस्था है। साथ ही, मिशन शक्ति के तहत महिला बीट पुलिस को भी सप्ताह में एक दिन बैठने के निर्देश दिए गए हैं।

Next Post

E-Paper-02 January 2023

Click […]
👉