(आशीष शर्मा) पुरवा। पुरवा तहसील के अंर्तगत ग्राम सेमरीमऊ मे माँ श्रीं दुर्गा मंदिर के प्रांगण में चल रही नवदिवसीय श्री दिव्य राम कथा के नवें दिन बताया कि जब हनुमान जी ने बताया कि माता सीता लंका में है लेकिन समस्या ये थी कि लंका में कैसे पहुचें सत जोजन समुद्र कैसे पार करें तब बाली के पुत्र नल नील को ये वरदान था कि वो अगर समुद्र में कुछ कुछ भी डाले वो डूबेगा नहीं इसीलिए नल नील ने हाथो से पत्थर में भगवान राम का नाम लिख कर पत्थर से एक सेतु बनाया जिससे कि भगवान राम और उनके सभी साथी और संपूर्ण वानर सेना के साथ लंका पहुचें और 41 दिन युद्ध चला और रावण को पराजित किया और विभीषण को राजा बनाया और माता सीता को पुष्पक विमान से लेकर अयोध्या पहुचें जब भगवान अयोध्या पहुचें तो अयोध्यावासियों ने घी के दिए जलाये और भगवान का अभिषेक किया और उन्हें अयोध्या का राजा बनाया इसके बाद भगवान का राज्या भिषेक किया सभी भक्तों ने बधाई गीत गाए जहां कार्यक्रम में पहुचें संघ के विभाग प्रचारक श्रीं डॉ अशोक कुमार दुबे जी ने व्यास पीठ कि आरती उतारकर व्यास जी से आशीर्वाद लिया और उन्होंने अपने विचार व्यक्त किया और उन्हें मंच पर माल्यार्पण कर भगवान राम की स्मृति दी जहां पुरवा नगर पंचायत अध्यक्ष श्रीं मती रेनु गुप्ता जी, लखनऊ से आए बी के मिश्रा मौजूद रहे इसके बाद विशाल भंडारे का आयो जन किया गया जहां सभी ग्रामवासी और क्षेत्र वासीयो ने पहुंचकर प्रसाद ग्रहण किया और सफलता पूर्वक कार्यक्रम संपन्न हुआ आचार्य मनमोहन त्रिपाठी जी ने पूरी समिति का आभार व्यक्त किया और सभी को आशी र्वाद दिया जहां आयो जक दिवाकर शुक्ला, अंकित तिवारी, राकेश शुक्ला,सचिन ,नितिन,राहुल नीरज आदि है। आप सभी भी अधिक से अधिक संख्या में पहुंचकर दिव्य श्री राम कथा का रसपान किया।
श्रीं दुर्गा मंदिर के प्रांगण में चल रही नव दिवसीय दिव्य राम कथा
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